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बुन्देली लोकगीत
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बुन्देली रचनाकार
- ईसुरी
- रामचरण हयारण 'मित्र'
- हरगोविन्द सिंह
- सन्तोष सिंह बुन्देला
- शिवानन्द मिश्र 'बुन्देला'
- जगदीश सहाय खरे 'जलज'
- दुर्गेश दीक्षित
- गुणसागर 'सत्यार्थी'
बुन्देली वैवाहिक लोकगीत
बुन्देली सोहर गीत
- अगना मे बाजे बधैया बाजे हो बधैया / बुन्देली
- अवध मे जन्मे राम सलोना / बुन्देली
- आज भई मोरे मन की, सुनो सैंया / बुन्देली
- ऊपर बादल घुमड़ाये हो / बुन्देली
- गलियन-गलियन फिरे मनहारिन / बुन्देली
- जशोदा के महलन बेग चलो री / बुन्देली
- जो बदनवारो कहा लये जाती / बुन्देली
- झूले नदलाल झुलाओ सखी पालना / बुन्देली
- नद घर बजत बधा लाल हम सुनके आ / बुन्देली
- पलग पर रोय रहयो मेरो नदलाला / बुन्देली
- पहले पहर को सपनो सुनो मोरी सासो जी महाराज / बुन्देली
- पिया कैसे झुलाऊ रस के बिजना / बुन्देली
- बधइया बाजै माधौ जी के / बुन्देली
- बधाये नन्द के घर आज सुहाये नन्द के घर आज / बुन्देली
- मथुरा मे जन्मे नद के कुमार... / बुन्देली
- राजा दशरथ के चारो लाल दिन-दिन प्यारे लगे / बुन्देली
- लूटन चलो श्याम की अमरैया / बुन्देली
- श्री रामचन्द्र जन्म लिये चैत सुदि नौमी / बुन्देली
- सो जा वा रे वीर तुम तो सो जाओ वा रे वीर / बुन्देली
- हम पहिरे मूगन की माला / बुन्देली
- हमखो तो चिन्ता हो रही / बुन्देली
- हमरे हु नन्दलाल चली आना ननदिया / बुन्देली
बुन्देली वर्षा गीत
- अधेरी घिर आई धीरे-धीरे / बुन्देली
- अबै जिन बरसो बादरा रे / बुन्देली
- आ गई रे बरसात सुहानी / बुन्देली
- कन्हैया तोरी चितवन लगत प्यारी / बुन्देली
- कहना से ऊनई कारी बदरिया / बुन्देली
- देखो सखी वर्षा ऋतु आई / बुन्देली
- बादल देख डरी सखी री बादल देख डरी / बुन्देली
- हठ पर गई गौरा नार / बुन्देली
बुन्देली झूला गीत
- झुला दो माई श्याम परे पलना / बुन्देली
- झुला दो रघुबर के पालने री / बुन्देली
- झूला डरो कदब की डार / बुन्देली
- झूला डरो कदम की डार / बुन्देली
- झूला डरो कनक मदिर मे / बुन्देली
- झूला पड़ गयो रे आगन मे / बुन्देली
- पार्वती के पुत्र गजानन पलना झूल रहे / बुन्देली
- सखिया चलो चले दरशन खो / बुन्देली
- हरे रामा आज बृज मे श्याम / बुन्देली
- हरे रामा लागे सावन के महीना / बुन्देली
बुन्देली होली गीत
- आज बिरज मे होरी रे रसिया / बुन्देली
- पनिया कैसे जाऊ सावरिया मै / बुन्देली
- पीरे पट वाले मेरे सैया / बुन्देली
- रघुबर राजकिशोरी महल बिच खेलत रे होरी / बुन्देली
- रसिया रग भर-भर जिन मारो / बुन्देली
- सरजू के तीर चलो गोरी / बुन्देली
- होली खेलू आज किसन / बुन्देली
- होली खेले लाड़ली मोहन से / बुन्देली
- होली खेले लाड़ली मोहन से / बुन्देली
बुन्देली गारी गीत
- अवधपुरी मे चैन परे न / बुन्देली
- कचरिया तोरो व्याव री / बुन्देली
- कछु नइया धना न्यारे की ठान मे भूलो मत झूठी शान मे / बुन्देली
- कही मान लो छोड़ो नसे बाजी कही मान लो / बुन्देली
- खोय देत हो जीवन बिना काम के भजन करो कछु राम के / बुन्देली
- गगा को मान बड़ा भारी / बुन्देली
- गारी गावे जनकपुर की नारिया / बुन्देली
- चाय पी पी के दूध घी की कर दई महगाई / बुन्देली
- जशोदा तेरो लाल री वशी मे देवे गारी / बुन्देली
- जा मुरली तो मधुर सुना जाव फिर मथुरा खो चले जावो / बुन्देली
- जेमन बैठे जनक जू के द्वारे / बुन्देली
- देखो खेते किसनवा जाय रहे / बुन्देली
- धनुष यज्ञ साला से मुनि जी आये दो बालक ले आये / बुन्देली
- नल बखरी मे लगवा दो साजना / बुन्देली
- पाल पोस बेटी करी सयानी / बुन्देली
- पिया हो गये तबाह सट्टा हार के फिरन लगे हाथ झार के / बुन्देली
- बड़े जनत से पाली बारी बन्नी / बुन्देली
- बने दूल्हा छवि देखो भगवान की / बुन्देली
- भागीरथ ने करी तपस्या / बुन्देली
- मै देख आई गुइया री / बुन्देली
- मोरे हर से करे ररिया जनकपुर की सखिया / बुन्देली
- राम लखन दोऊ भैया ही भैया / बुन्देली
- सावन बीते जात हमखो ससुराल मे / बुन्देली
- सुन लो तुम ध्यान से जिठानी / बुन्देली
- हम तुमसे पूछे रानी रुकमणि / बुन्देली
- हमखो न अखिया दिखाओ मोरे सैया / बुन्देली
अन्य बुन्देली लोक-गीत
- इक दिन जा बैठी सो डार के पटा / बुन्देली
- छोटे से मोरे मदन गोपाल (लोरी) / बुन्देली
- कौन रंग हीरा कौन रंग मोती/ बुन्देली
- गोरी के जोबना / बुन्देली
- जल भरन जानकी आई तीं (कुआँ-पूजन) / बुन्देली
- ऊपर बादर घर्राएँ हों (कुआँ-पूजन) / बुन्देली
- आम अमलिया की नन्ही-नन्ही पतियाँ / बुन्देली
- आ जैहो बड़े भोर दही लै के (कार्तिक स्नान का गीत) / बुन्देली
- भैया सो जा बारे बीर (लोरी) / बुन्देली
- कौन फूल फूले अजहिन सजहिन / बुन्देली
- राजा के अगनवा चन्दन का विरवा /बुन्देली
- सो जा बारे वीर / बुन्देली
- कन्हैया तोरी चितवन / बुन्देली
- राते बरस गओ पानी / बुन्देली
- अम्बे दयाल भईं भईं मोरे अगना देवी दयाल भईं / बुन्देली
- अरे मन चेतत काहे नाही / बुन्देली
- अवगुन बहुत करे / बुन्देली
- आ जैहो बड़ी भोर दही लैके / बुन्देली
- आज अगन बीच कन्हैया मचला ठाने / बुन्देली
- आज वृन्दावन रहस रच्यो है / बुन्देली
- उड़ चलो पवन की चाल मन भौरा बगीचा / बुन्देली
- ऊधो ऐसी कइयो हरि से / बुन्देली
- ओ कान्हा मोरी भर दो गगरिया / बुन्देली
- ओ रघुबर न कोउ विपत्ति के साथी / बुन्देली
- कर जोर खड़ी गिरिजा ढिग राज दुलारी / बुन्देली
- कानो बड़ाई करो बीर हनुमान की / बुन्देली
- कान्हा गगरिया मत फोड़ो / बुन्देली
- कामना पूरी करो माई कामना पूरी करो माई / बुन्देली
- कृष्ण बने मनिहार -सुनो री आली / बुन्देली
- कैसे के दर्शन पाऊ मैया तोरी सकरी दुअरिया / बुन्देली
- कैसे दर्श मै पाऊ मैया बिराजी पहाड़ पे / बुन्देली
- कैसे व्याहू राधा कन्हैया तेरो कारो / बुन्देली
- गरब करे सोई हारे / बुन्देली
- जमुना किनारे मेरा घर है रे / बुन्देली
- जमुना किनारे मोरा गाव / बुन्देली
- जय-जय शीतला माई की जय-जय बोलो / बुन्देली
- जागो वशी वारे ललना-जागो मोरे प्यारे / बुन्देली
- जाना जरूर देवी दर्शन खो / बुन्देली
- जे देवी दयाल भई मोरे अगना / बुन्देली
- टेरत है घनश्याम तुम्हे तो / बुन्देली
- ठुमुक-ठुमुक नाच रह्यो श्याम आगन मे झाक रही मैया / बुन्देली
- डूब चलो दिन माय साझ भई मदिर मे / बुन्देली
- तुमने नाम कमायो पवन सुत / बुन्देली
- तोरे पाव परत महामाई हो मोरी अरज सुनो / बुन्देली
- तोरे सोहे पाव पैजनिया माई के बलमा / बुन्देली
- दुर्गा दुर्गति हारो / बुन्देली
- दृगन मन बस गये री मोरे गुइया / बुन्देली
- देवी के दिवाले बड़ी भीर / बुन्देली
- धीरे चलो मै हारी लक्ष्मण / बुन्देली
- पत रखियो सब जन की मोरी मैया पत... / बुन्देली
- पनघट पे न छेड़ो श्याम छैला / बुन्देली
- पूरना पूरी करो माई... / बुन्देली
- प्रभु तोरी महिमा परम अपारा / बुन्देली
- प्रेम विवश भगवान शबरी घर आये / बुन्देली
- बिन देखे नन्दलाला कल न परे / बुन्देली
- बिराजे आज सरजू तीर / बुन्देली
- भई ने बिरज की भोर सखी री / बुन्देली
- मगन मन डोले रे जय अम्बे बोले / बुन्देली
- माई तुम्हरे श्याम कौन गुण कारे / बुन्देली
- मागू मागू वरदान देवी के मदिर भीतर / बुन्देली
- माय भवानी मोरी पाहुनी हो मा / बुन्देली
- मुरलिया बाजे जमुना तीर / बुन्देली
- मैया के भुवन अरे हा अखण्डी ज्योति जरे / बुन्देली
- मैया के भुवन मे हरे चदन बिरछा / बुन्देली
- मैया कैसी मनोहर गलिया सजी है / बुन्देली
- मैया तेरे लाला को लागी नजरिया / बुन्देली
- मैया महक रहे तोरे बाग मदिरवा गर के / बुन्देली
- मैया शख बजत मिरदग आरती की बिरिया... / बुन्देली
- मोय ब्रज बिसरत नैया / बुन्देली
- मोरी बिनती सुनो महरानी भवानी बिनती सुनो... / बुन्देली
- मोरे मन बसे राम और सीता मोरे... / बुन्देली
- मोसे भुअन चढ़ो न जाय लगुरिया / बुन्देली
- या ब्रज मे कछु देखो री टोना / बुन्देली
- रथ ठाड़े करो रघुबीर / बुन्देली
- लका मे हनुमान अलबेले राम / बुन्देली
- लोगे ही लोगे महकाय मोरी मैया / बुन्देली
- शबरी के खट्टे मीठे बेर बेर बड़े मीठे लगे / बुन्देली
- शिव शकर चले कैलाश / बुन्देली
- शेरो पे हो गई सवार सवार महारानी / बुन्देली
- श्याम लखत छबि बाकी राधिका जी की / बुन्देली
- सकल गुण धाम अम्बे तू भला क्या गान गाऊ मै / बुन्देली
- सब सखि चलो जमुना तट पे / बुन्देली
- स्वारथ को व्यवहार जगत मे स्वारथ को व्यवहार / बुन्देली
- हो जाओ हो जाओ दयाल महामाई अबकी बेर / बुन्देली